Friday, December 21, 2012

Parmatm Prakash Bharill: बो देखो बो कैसा फुटपाथ पर पडा है अपने पूरे परिवार ...


 वह अपने से है , सर्टीफिकेट से नहीं , मैं सर्टीफिकेट से हूँ अपने आप से नहीं .
  मेरे पास यदि जन्म का प्रमाणपत्र है तो ही मैं जन्मा हूँ , शादी के प्रमाणपत्र से मैं परिणित हूँ , जीवित होने का प्रमाणपत्र है तो ही मैं जीवित हूँ और तो और म्रत्यु प्रमाण पत्र पाने के बाद ही मैं मर भी सकूंगा .
  यदि प्रमाण पत्र नहीं तो मैं कुछ भी नहीं .
  उसे अपने जन्मने , जीने या मरने के लिए किसी कागज़ के दुकड़े की जरूरत नहीं , वह खुद से है .
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Parmatm Prakash Bharill: बो देखो बो कैसा फुटपाथ पर पडा है अपने पूरे परिवार ...: हम क्या कर रहे हें , किस दिशा में जा रहे हें , हमें स्वयं नहीं मालूम . जीवन क्या है , कैसे जीना चाहिए , क्या कर्तव्य है और क्या न करने योग...

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